Uncategorized

IPO Market: 90 दिन, 61 आईपीओ, 900000000000 रुपये… पैसा लगाने से पहले देख लें ये आंकड़े, खुल जाएंगी आंखें

IPO Market: 90 दिन, 61 आईपीओ, 900000000000 रुपये… पैसा लगाने से पहले देख लें ये आंकड़े, खुल जाएंगी आंखें

Last Updated on November 21, 2025 19:04, PM by Pawan

नई दिल्ली: अगर आप आईपीओ के जरिए शेयर मार्केट में पैसा निवेश करने का प्लान बना रहे हैं तो कुछ आंकड़े जरूर जान लें। पिछले 90 दिनों में 61 आईपीओ आए, जिनसे कंपनियों ने 90,000 करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम जुटाई है। आईपीओ से कंपनियों ने तो खूब पैसा कमा लिया, लेकिन निवेशकों का रिटर्न मिला-जुला रहा है। ट्रेंडलाइन (Trendlyne) ने कुछ ऐसे आंकड़े पेश किए हैं जिन्हें जानकार आप आईपीओ में निवेश करने से पहले कई बार सोचेंगे।

ट्रेंडलाइन के मुताबिक 61 में से 44 आईपीओ ने लिस्टिंग पर 10% से कम का फायदा दिया है। 19 आईपीओ ऐसे रहे जिन्होंने लिस्टिंग पर या तो कोई फायदा नहीं दिया या फिर नुकसान ही कराया। इकोनॉमिक टाइम्स के मुताबिक यह स्थिति साल 2021 और 2022 के उन दिनों से बिल्कुल अलग है जब आईपीओ लिस्ट होते ही निवेशकों को मालामाल कर देते थे। वहीं अब करीब आधे आईपीओ अपने इश्यू प्राइस यानी जिस दाम पर उन्हें बेचा गया था, उससे नीचे चल रहे हैं। यह तब हो रहा है जब इन आईपीओ को निवेशकों का जबरदस्त समर्थन मिला था और रिटेल निवेशकों ने खूब पैसा लगाया था।

क्या कहते हैं आईपीओ के आंकड़े

आंकड़े बताते हैं कि अगस्त से नवंबर के बीच कंपनियों ने कुल 1.03 लाख करोड़ रुपये जुटाए। इस दौरान टाटा कैपिटल, एलजी इलेक्ट्रॉनिक्स इंडिया, लेंसकार्ट, ग्रो और टेनेको क्लीन एयर जैसी बड़ी कंपनियों के आईपीओ आए। ये आईपीओ सिर्फ किसी एक सेक्टर तक सीमित नहीं थे, बल्कि इनमें नई उम्र के टेक प्लेटफॉर्म, वित्तीय सेवाएं, इंजीनियरिंग कंपनियां, रिन्यूएबल एनर्जी, केमिकल बनाने वाली कंपनियां और ग्राहकों से सीधे जुड़े ब्रांड्स भी शामिल थे।लिस्टिंग के बाद इन कंपनियों का प्रदर्शन मिला-जुला रहा है। आईपीओ प्राइस से लेकर आज तक का औसत रिटर्न सिर्फ 11% रहा है, जो पिछले सालों के मुकाबले काफी कम है। 61 कंपनियों में से 26 कंपनियां अपने इश्यू प्राइस से नीचे कारोबार कर रही हैं। यह कुल लिस्टिंग का करीब 42% है। वहीं 35 आईपीओ ऐसे हैं जो फायदे में चल रहे हैं। ये कुल लिस्टिंग का लगभग 58% है।

ज्यादा दिलचस्पी, खराब प्रदर्शन

जिन आईपीओ में रिटेल निवेशकों ने खूब पैसा लगाया, उन्होंने निराश किया। यह कमजोर प्रदर्शन उन आईपीओ में ज्यादा देखने को मिला जहां रिटेल निवेशकों ने बहुत ज्यादा दिलचस्पी दिखाई थी। इस दौर में जिन आईपीओ में सबसे ज्यादा बोली लगी थी, उनमें से कुछ सबसे खराब प्रदर्शन करने वाले साबित हुए।

डेव एक्सेलेरेटर को रिटेल निवेशकों ने 164.72 गुना सब्सक्राइब किया था, लेकिन अब यह अपने इश्यू प्राइस से करीब 30% नीचे चल रहा है। वीएमएस टीएमटी नाम का एक और छोटा आईपीओ, जिसमें रिटेल निवेशकों ने 47 गुना से ज़्यादा बोली लगाई थी, वह 37% गिर गया है। सोलरवर्ल्ड एनर्जी सॉल्यूशंस भी रिटेल और एचएनआई दोनों कैटेगरी में भारी सब्सक्रिप्शन के बाद 14% से ज्यादा गिर गया है। रेगल रिसोर्सेज का आईपीओ कुल मिलाकर 159 गुना से ज्यादा सब्सक्राइब हुआ था, लेकिन यह अब भी अपने इश्यू प्राइस से 13.8% नीचे है। हाईवे इंफ्रास्ट्रक्चर 155 गुना सब्सक्राइब किया गया था, लेकिन यह भी नुकसान में चल रहा है।

इन आईपीओ ने दिया मुनाफा

आदित्य इन्फोटेक 149% ऊपर है। आनंद राठी शेयर स्टॉक ने 80% से ज्यादा फायदा दिया है। फिजिक्सवाला 34% बढ़ा है, ग्रो 56% ऊपर गया है और ईपैक प्रीफैब ने 58% रिटर्न दिया है। इन कंपनियों के बाजार में आने से पहले उनके बैलेंस शीट मजबूत थे, उनके पास अच्छा कैश फ्लो था या वे अपने सेक्टर में लीडर थीं।

बड़े कंज्यूमर-टेक कंपनियों ने भी लिस्टिंग पर मामूली लेकिन सकारात्मक शुरुआत की। लेंसकार्ट अपने ऑफर प्राइस से 3% से ज्यादा ऊपर कारोबार कर रहा है। पाइन लैब्स 8% से थोड़ा ज्यादा बढ़ा है। फिजिक्सवाला और ग्रो जैसी कंपनियों ने अपनी कमाई के रुझान और यूजर ग्रोथ के आंकड़ों के दम पर निवेशकों का ध्यान बनाए रखा है।

Source link

Click to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Most Popular

To Top